चन्द्र पूजा की विधि के बारे में चर्चा करेंगे तथा इस पूजा में प्रयोग होने वाली महत्वपूर्ण क्रियाओं के बारे में भी विचार करेंगे। वैदिक ज्योतिष चन्द्र पूजा का सुझाव मुख्य रूप से किसी कुंडली में अशुभ रूप से कार्य कर रहे चन्द्र की अशुभता को कम करने के लिए, अशुभ चन्द्र द्वारा कुंडली में बनाए जाने वाले किसी दोष के निवारण के लिए अथवा किसी कुंडली में शुभ रूप से कार्य कर रहे चन्द्र की शक्ति तथा शुभ फल बढ़ाने के लिए देता है। चन्द्र पूजा का आरंभ सामान्यतया सोमवार वाले दिन किया जाता है तथा उससे अगले सोमवार को इस पूजा का समापन कर दिया जाता है जिसके चलते इस पूजा को पूरा करने के लिए सामान्यता 7 दिन लगते हैं किन्तु कुछ स्थितियों में यह पूजा 7 से 10 दिन तक भी ले सकती है जिसके चलते सामान्यतया इस पूजा के आरंभ के दिन को बदल दिया जाता है तथा इसके समापन का दिन सामान्यतया सोमवार ही रखा जाता है।