जब श्राद्ध पक्ष प्रारंभ होता है तो मृत्यु लोक से पितृ धरती लोक में अपनी संतानों से मिलने आते हैं और आश्विन माह की अमावस्या के दिन वे वापस अपने लोक में लौट जाते हैं। माना जाता है कि जो व्यक्ति श्रद्धा और विश्वास से नमन कर पितरों को विदा करते हैं उनके घर में सुख-शांति का आगमन होता है। सर्वपितृ अमावस्या के दिन राशि के अनुसार करें उपाय, मिलेगा पितरों से आशीर्वाद, पितृ दोष निवारण की है मान्यता
मेष राशि —
पितरों के लिए सात्विक भोजन बनाकर दक्षिण की ओर मुख कर बैठ जाएं। उनको याद करते हुए प्रणाम करें। साथ ही यह प्रार्थना करें कि वह भोजन कर आपके घर पर कृपा करें।
वृष–
राशि पितरों की तस्वीर पर सफेद रंग का हार चढ़ाएं। हाथ जोड़कर ॐ सर्व पितृ नम: का 108 बार जाप करें। तस्वीर न होने पर मानसिक रूप से उन्हें हार अर्पित कर अपने सामने रख लें।
मिथुन–
राशि पीपल के पेड़ पर जल, अक्षत, उड़द की दाल और काले तिल अर्पित करें। हाथ जोड़कर अपने पितरों का स्मरण करें। उनसे प्रार्थना करें कि वह आपको और आपके परिवार के सभी सदस्यों को आशीर्वाद दें।
कर्क–
राशि सर्वपितृ अमावस्या की शाम गरीब या जरूरतंमद को वस्त्र दान करें। वस्त्र दान कर उनके चरण स्पर्श कर आशीर्वाद लें। फिर पीछे मुड़कर न देखें। यह उपाय कर किसी को न बताए।
सिंह–
राशि घर की दक्षिण दिशा में सफेद रंग का कपड़ा बिछाएं। स्नानादि कर पवित्र हो घर का मुखिया उस पर बैठ कर नाग स्तोत्र, महामृत्युंजय मंत्र, रुद्र सूक्त, पितृ स्तोत्र या नवग्रह स्तोत्र का पाठ करें।
कन्या–
राशि सर्वपितृ अमावस्या की सुबह शिव जी के मंदिर जा कर उन्हें कच्ची लस्सी, फूल, दीप, धूप, फल और मिठाई चढ़ाकर यह प्रार्थना करें कि वह आपके घर से पितृ दोष को दूर करें।
तुला–
राशि तुला राशि के जातकों को सर्वपितृ अमावस्या की शाम को कुत्तों को जलेबी खिलाएं। ध्यान दें कि किसी घर में पल रहे कुत्तों को नहीं गली-मोहल्ले के आवारा कुत्तों को जलेबी खिलाएं।
वृश्चिक–
राशि सर्वपितृ अमावस्या की शाम किसी गरीब कन्या की शादी या पढ़ाई करने का संकल्प लें और इसी साल उसकी शादी या पढ़ाई में योगदान दें। यह उपाय पितृ दोष निवारण के लिए बहुत उपयोगी माना गया है।
धनु–
राशि सर्वपितृ अमावस्या के दिन पितरों को विदा करने से पहले संभव हो तो गोदान करें अन्यथा प्रतीकात्मक गोदान भी किया जा सकता है। यह उपाय घर के बाहर सदस्यों को बताए बिना करें।
मकर–
राशि मकर राशि के जातकों को सर्वपितृ अमावस्या की शाम को विष्णु सहस्त्रनाम का पाठ कर भगवान विष्णु से प्रार्थना करें कि वह आपके घर का पितृ दोष निवारण करें।
कुंभ–
राशि सर्वपितृ अमावस्या के दिन दिन ढलने से पहले अपनी क्षमता के अनुसार सात प्रकार का अनाज दान करें। कोशिश करें कि घर का मुखिया पक्षियों को अपने हाथ से यह दाना डालें।
मीन–
राशि मीन राशि के जातकों को एक कटोरी आटा लें। उसमें गुड़ मिलाकर रोटी बनाएं। दक्षिण दिशा की ओर मुख कर पितरों को रोटी का भोग लगाने को कहें। फिर ये रोटी गाय को अपने हाथ से खिलाएं।”,
-अमावस्या के दिन पित्रों के निमित दान करना चाहिये। इससे कई दोष दूर होते हैं। भोजन से पूर्व गाय, कुत्ता और पक्षि हेतु भोजन का कुछ अंश निकाल कर इन्हें खिलाएं।
15 दिन पहले आए पितरों को इस अमावस्या के दिन विदा किया जाता है. इसलिए इसे पितृ विसर्जन अमावस्या कहा जाता है. इस दिन से पितृ पक्ष समाप्त होता है. माना जाता है कि पितृ विसर्जन अमावस्या के दिन अगर पितृ दोष से मुक्ति पाने के उपाय किए जाए तो यह बहुत कारगर साबित होते हैं.पितृदोष से मुक्ति के उपाय
पितृ अमावस्या के दिन एक पीतल का दीपक लें. उसमें सरसों का तेल डालकर जलाएं. यह दीपक दक्षिण दिशा में रखें. सर्वपितृ अमावस्या की शाम को ही यह उपाय करें. संभव हो तो प्रयास करें कि यह दीपक पितृ विसर्जन अमावस्या की पूरी रात जलता रहे. इसे पितृ दोष निवारण यंत्र स्थापित करने से पूर्व किये जाने वाले उपायों में सबसे सरल माना गया है.
पितृ विसर्जन अमावस्या की शाम को पितरों के निमित्त भोजन बनाकर एक पत्तल में रखें फिर इस भोजन को किसी वृद्ध को खिलाएं अन्यथा बबूल या पीपल के पेड़ की जड़ में उस भोजन को रख दें. भोजन रखते समय यह प्रार्थना करें कि हे पितृ देव आप यह भोजन खाकर तृप्त हो जाएं और हमारे घर से पितृ दोष को दूर करें. यह उपाय करने के बाद पीछे मुड़कर न देखें.
गजेन्द्र मोक्ष
सर्वपितृ अमावस्या की शाम गजेन्द्र मोक्ष का पाठ करें. एक दीपक जलाकर दक्षिण दिशा की ओर मुख कर यह पाठ करें. पाठ पूरा होने के बाद भगवान विष्णु का स्मरण करते हुए उनसे और अपने घर से पितरों से प्रार्थना करें कि वह आपके घर से पितृ दोष को दूर करें. इसके बाद पितरों को जलेबी का भोग लगाएं.
पितरों को विदा करने से पहले उन्हें जलेबी का भोग लगाएं. फिर शाम को घर में उस स्थान पर पितरों के निमित्त जलेबी रखें जहां आप पीने के पानी का बर्तन रखते हों. साथ ही कुत्तों को जलेबी खिलाएं. यह उपाय बहुत सरल है. इसका असर बहुत जल्दी देखने को मिलता है. ‘ओम श्री सर्व पितृ दोष निवारणाय क्लेशम् हं हं सुख शांतिम् देहि फट: स्वाहा’ का जाप करें.
चौमुखी दीपक
सर्व पितृ अमावस्या के दिन पितरों के लिए चौमुखी दीपक जलाना चाहिए। इस दिन सूर्यास्त के बाद घर की दक्षिण दिशा में पितरों के नाम का चौमुखी दीपक जलाकर रख दें। इससे व्यक्ति को पितरों के आशीर्वाद के साथ सभी सुख वैभव की प्राप्ति होती है।
पीपल के पेड़ से पितरो को शांति